Rajeev Namdeo Rana lidhorI

बुधवार, 11 अगस्त 2021

उरबतिया (बुंदेली दोहा संकलन ई-बुक) संपादन-राजीव नामदेव'राना लिधौरी', टीकमगढ़ (म.प्र)



        उरबतिया
                 (बुंदेली दोहा संकलन) ई_बुक
          संपादक - राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
                  
 उरबतिया

    (बुंदेली दोहा संकलन) ई_बुक

 संपादक - राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'
                                  
प्रकाशन-जय बुंदेली साहित्य समूह टीकमगढ़

© कापीराइट-राजीव नामदेव 'राना लिधौरी'

ई बुक प्रकाशन दिनांक 11-08-2021

        टीकमगढ़ (मप्र)भारत-472001
         मोबाइल-9893520965

😄😄😄 बुंदेली साहित्य समूह टीकमगढ़😄😄😄


              अनुक्रमणिका-

01- राजीव नामदेव 'राना लिधौरी' (टीकमगढ़)(म.प्र.)
02-प्रदीप खरे 'मंजुल', टीकमगढ़ (मप्र)
03-जयहिंद सिंह 'जयहिन्द',पलेरा(म.प्र.)
04-अशोक पटसारिया,लिधौरा (टीकमगढ़) 
05-डां संध्या श्रीवास्तव, दतिया,(म.प्र.)
06-श्याम मोहन नामदेव देरी,(म.प्र.)
07-सीताराम तिवारी 'दद्दा', टीकमगढ़,(म.प्र.)
08- कल्याणदास साहू "पोषक",पृथ्वीपुर(निवाड़ी)(म.प्र.)
09- एस. आर. 'सरल', टीकमगढ़ (मप्र)
10- रामेश्वर गुप्त, 'इंदु', बड़ागांव,झांसी (उ.प्र.)
11-गुलाब सिंह यादव 'भाऊ', लखौरा टीकमगढ़
12-परम लाल तिवारी,खजुराहो(म.प्र.)
13-डां रेणु श्रीवास्तव, भोपाल(म.प्र.)
14-प्रो(डॉ)शरद नारायण खरे,मंडला(म.प्र.)
15-राम बिहारी सक्सेना, खरगापुर(म.प्र.)
16-प्रभुदयाल श्रीवास्तव, टीकमगढ़ (मप्र)
17-हरिराम तिवारी 'हरि' ,खरगापुर(टीकमगढ़)

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01-राजीव नामदेव "राना लिधौरी" , टीकमगढ़ (मप्र)

उरबतिया-

उरवतिया नौनी लगे,
मोती कैसी धार।
मन मोरों मझधार में,
कैसे लगवे पार।।
***7-8-2021

*@ राजीव नामदेव "राना लिधौरी" टीकमगढ़*
           संपादक "आकांक्षा" पत्रिका
जिलाध्यक्ष म.प्र. लेखक संघ टीकमगढ़
अध्यक्ष वनमाली सृजन केन्द्र टीकमगढ़
नई चर्च के पीछे, शिवनगर कालोनी,
टीकमगढ़ (मप्र)-472001
मोबाइल- 9893520965
Email - ranalidhori@gmail.com
Blog-rajeevranalidhori.blogspot.com
(मेरी उपरोक्त रचना मौलिक एवं स्वरचित है।)

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2-प्रदीप खरे 'मंजुल', टीकमगढ़ (मप्र)

 
हूँक हिये में उठत है,
पिय बिन बिपत अपार। 
उरबतियां सी बह रही, 
मौरे अँसुवन धार।।
-***
-प्रदीप खरे मंजुल,टीकमगढ़ (म.प्र.)💐

           
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3-जयहिंद सिंह 'जयहिन्द',पलेरा, टीकमगढ़ (मप्र)

     
 पिया परे परदेश में,
मोरी उमर लिलोर।
उरबतियाँ घर की चलें,
जियरा लेत हिलोर।।

              ###
-जयहिंद सिंह 'जयहिन्द',पलेरा, (टीकमगढ़)

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4-अशोक पटसारिया 'नादान' ,लिधौरा ,टीकमगढ़ 


 सावन में झूला डरे,
करें घरनि श्रंगार।               
उरबतियाँ गावे लगीं,
पावस राग मलार।।
         ***

           -अशोक पटसारिया 'नादान' ,लिधौरा, टीकमगढ़ 
                   
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5-डॉ.संध्या श्रीवास्तव, दतिया(म.प्र.)

उरबतियाँ में बह रहौ,
पानी बिरथा खूब।
बचबौ कैसैं हो सकै,
सोचो गहरे डूब।।
***
            -डॉ.संध्या श्रीवास्तव, दतिया

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06-श्याम मोहन नामदेव,देरी, टीकमगढ़(म.प्र.)

आँखन से बारिस भई,
 बिन बादर बरसात।
उरबतियाँ  सी बा रईं,
 इससे दिन अरु रात।।

✍️ श्याम मोहन नामदेव*देरी, टीकमगढ़,

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07-सीता राम तिवारी दद्दा टीकमगढ़(मप्र)


उरबतियां जांसें लगीं,
रय किसान हरसाय।
खेतन में फसलें खड़ीं, 
चहुं दिश सब हरयाय।।
***
-सीताराम तिवारी 'दद्दा', टीकमगढ़


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08-कल्याणदास साहू "पोषक", पृथ्वीपुर, (निवाड़ी)


           
उरबतियाँ उम्दा लगें , 
रिमझिम बरसा होय ।
हरो-हरो दीखन लगत ,
 हरयाई मन मोय ।।

 ***
 -कल्याण दास साहू "पोषक"पृथ्वीपुर,निवाडी़ (मप्र)
  ( मौलिक एवं स्वरचित )
             
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09-एस. आर. सरल, टीकमगढ़ (मप्र)


 अँदाधुन्द पानी गिरै,
पवन धुकै झकझोर।
उरबतियाँ गिरबे लगीं,
बँदे रमा रय ढोर।।

       ###
     -एस आर सरल,टीकमगढ़      
        
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10-रामेश्वर प्रसाद गुप्त, बड़ागांव, झांसी


उरबतियां खपरैल से, 
गिरतीं टप-टप जांय।
चौमासे में वे बहुत,
सबके मन खों भांय।।
***
-रामेश्वर प्रसाद गुप्ता इंदु.,बडागांव झांसी (उप्र.)

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11-गुलाब सिंह यादव भाऊ, लखौरा (टीकमगढ़)

बरसा ऐसी हो रही ,
बरसत है दिन रात।
उरबतियां ऐसी लगीं,
ब्रजवासी उकतात।।
---
-गुलाब सिंह यादव भाऊ, लखौरा (टीकमगढ़)

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12--परम लाल तिवारी,खजुराहो


उरबतियाँ कासे कहूं,
प्रीतम घर हैं नांय।
नैनन से अंसुवा ढरें,
जो उर दुख दरसांय।।
***
-परम लाल तिवारी,खजुराहो

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14-डां रेणु श्रीवास्तव, भोपाल

भले आदमी के लिगां, 
सब नोने गुण जांय।
बैसइ उरबतियां रहैं,
 पानू बहत समांय।।

***
-रामानन्द पाठक नन्द,नैगुवा

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15-  -प्रो(डॉ)शरद नारायण खरे,मंडला


उरबतियाँ में लो सपर,
मजा लेव इफरात।
मौड़ा-मौड़ी को सदा,
मस्ती बड़ी सुहात।।
***
-        -प्रो(डॉ)शरद नारायण खरे,मंडला
     
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16-राम बिहारी सक्सेना, खरगापुर


वृन्दावन में डरे हैं,
 झूला कदम की डार।
"उरबतियाँ" राधा करें,
श्याम गरें भुज डार।।
***
-राम बिहारी सक्सेना, खरगापुर

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16-प्रभुदयाल श्रीवास्तव, टीकमगढ़ (मप्र)

सांउन की आंउन भ‌ई,
बिलमे बलम बिदेस।
नैंनन उरबतियां लगीं ,
बिरहिन धन मन ठेस।।

***

-प्रभुदयाल श्रीवास्तव, टीकमगढ़ (मप्र)


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17-हरिराम तिवारी 'हरि' ,खरगापुर जिला टीकमगढ़



बुंदेली शब्द    "उरबतियां"
दोहा  "अप्रतियोगी"

उर बतियां की सें कहूं, 
जी में उठे हिलोर।
सखि उर में बस गयौ है, 
छलिया नंद किशोर।।

जय जय सियाराम🙏🙏
 
****
हरिराम तिवारी 'हरि' 
खरगापुर जिला टीकमगढ़ मध्य प्रदेश

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 उरबतिया
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